सिद्धरमैया ने की फॉक्सकॉन सीईओ से मुलाकात, कर्नाटक में बड़े निवेश की संभावनाओं पर चर्चा

सिद्धरमैया ने की फॉक्सकॉन सीईओ से मुलाकात, कर्नाटक में बड़े निवेश की संभावनाओं पर चर्चा अग॰, 18 2024

कर्नाटक में फॉक्सकॉन के निवेश की बड़ी योजना

कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने हाल ही में फॉक्सकॉन के सीईओ यंग लियू से मुलाकात की, जिसमें राज्य में कंपनी के निवेश की संभावनाओं पर गहन चर्चा हुई। फॉक्सकॉन, जो वैश्विक स्तर पर एक प्रमुख टेक्नोलॉजी कंपनी है, ने कर्नाटक में अपने विभिन्न प्रोजेक्ट्स को आगे बढ़ाने का पक्का इरादा किया है।

फॉक्सकॉन के प्रमुख प्रोजेक्ट

फॉक्सकॉन के महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स में से एक है 'प्रोजेक्ट एलिफेंट', जो एक बड़ा मोबाइल फोन असेंबली प्लांट है। इस प्लांट को स्थापित करने के लिए कंपनी ने 300 एकड़ जमीन हासिल की है। यह प्लांट न केवल तकनीकी नवाचार को प्रोत्साहन देगा बल्कि कर्नाटक के स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी मजबूत करेगा। प्रोजेक्ट एलिफेंट से 40,000 से अधिक रोजगार के अवसर उत्पन्न होने की उम्मीद है और इसमें कुल ₹22,000 करोड़ का निवेश प्रस्तावित है।

इसके अतिरिक्त, 'प्रोजेक्ट चीता' के तहत इलेक्ट्रिक वाहन के पुर्जों का निर्माण और असेंबली की जाएगी, जिससे तकनीकी विकास और रोजगार सृजन में और भी वृद्धि होगी।

कर्नाटक के प्रतिस्पर्धात्मक लाभ

मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने फॉक्सकॉन के सीईओ को राज्य की प्रगतिशील नीतियों और निवेशकों के प्रति राज्य की प्रतिबद्धता की जानकारी दी। उन्होंने कर्नाटक के प्रतिस्पर्धात्मक लाभों को रेखांकित करते हुए कहा कि राज्य में कुशल श्रमशक्ति, विश्वसनीय विद्युत आपूर्ति, और प्रभावी लॉजिस्टिक्स व्यवस्थाएं हैं, जो किसी भी बड़े निवेश के लिए अनुकूल वातावरण प्रदान करती हैं।

सरकारी समर्थन और सुविधाएं

कर्नाटक के वाणिज्य और उद्योग विभाग ने घोषणा की है कि फॉक्सकॉन के प्रोजेक्ट्स को सभी आवश्यक अनुमतियां और सुविधाएं प्रदान की जाएंगी। मुख्यमंत्री ने पूरी तरह से समर्थन का आश्वासन दिया और कहा कि सरकार की ओर से हर संभव सहायता प्रदान की जाएगी, ताकि इन प्रोजेक्ट्स को सफलतापूर्वक पूरा किया जा सके।

फॉक्सकॉन की बढ़ती उपस्थिति कर्नाटक में न केवल रोजगार के नए अवसर उत्पन्न करेगी बल्कि आर्थिक विकास और तकनीकी नवाचार को भी बढ़ावा देगी। इससे कर्नाटक की स्थिति एक प्रमुख तकनीकी नवाचार केंद्र के रूप में और भी मजबूत होगी।

स्थानीय अर्थव्यवस्था पर प्रभाव

फॉक्सकॉन और कर्नाटक सरकार के बीच बढ़ती साझेदारी से न केवल राज्य की तकनीकी क्षमताओं में वृद्धि होगी, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी एक बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा। अनुमान लगाया जा रहा है कि इन प्रोजेक्ट्स से अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण वृद्धि होगी और राज्य में हजारों लोगों को रोजगार मिलेगा।

अंत में, यह बैठक कर्नाटक को वैश्विक स्तर पर निवेश का एक प्रमुख गंतव्य बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। मुख्यमंत्री सिद्धरमैया की प्रतिबद्धता और फॉक्सकॉन की प्रेरणा से राज्य में तकनीकी नवाचार और औद्योगिक विकास के नए अध्याय लिखे जाएंगे।

6 टिप्पणि

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    Amit Mitra

    अगस्त 19, 2024 AT 01:43

    इस प्रोजेक्ट एलिफेंट की बात करूँ तो 40,000 नौकरियाँ तो बहुत बड़ी संख्या है, लेकिन क्या ये सब टेक्निकल जॉब्स होंगी? या फिर मेनुअल असेंबली वाले पोस्ट्स? मैंने देखा है कि ऐसे प्लांट्स में ज्यादातर लोग बहुत कम स्किल्स के साथ आते हैं, और फिर उन्हें ट्रेनिंग देने का बोझ स्थानीय सरकार पर पड़ता है। फॉक्सकॉन तो दुनिया भर में अपनी लेबर पॉलिसी के लिए खराब नाम बना चुका है। क्या कर्नाटक में भी वही होगा? मैं बस ये जानना चाहता हूँ कि ये जॉब्स कितनी स्थायी होंगी और क्या वो लोगों को डिजिटल स्किल्स देंगे या बस एक दिन के लिए टेम्प जॉब देंगे।

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    Tamanna Tanni

    अगस्त 19, 2024 AT 07:49

    ये तो बहुत अच्छी खबर है 😊 अब तो कर्नाटक की जगह दुनिया भर में मशहूर हो जाएगी

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    Rosy Forte

    अगस्त 20, 2024 AT 22:38

    अरे भाई, ये सब निवेश का धोखा है। फॉक्सकॉन जैसी कंपनियाँ तो जब तक टैक्स हेवन नहीं मिल जाता, तब तक बस बातें करती रहती हैं। ये प्रोजेक्ट एलिफेंट? नहीं भाई, ये तो प्रोजेक्ट एलिफेंट-इन-प्रोसेस ऑफ-ब्रेकिंग-स्टेट-बैंक लग रहा है। जब तक सरकार इन्हें 100% टैक्स फ्री नहीं देती, तब तक ये जमीन पर एक घर भी नहीं बनाएगी। ये तो एक बड़ा सा डिजिटल ब्लफ है, जिसे आप विकास की धुन में बेच रहे हैं। हम तो अभी भी लोगों को बिजली नहीं दे पा रहे, और ये लोग 22,000 करोड़ का घोषणापत्र लेकर आए हैं। अरे ये तो एक गैर-मौलिक डिजिटल फेंक है।

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    Yogesh Dhakne

    अगस्त 21, 2024 AT 10:47

    मजा आ गया देखकर 😌 अब तो कर्नाटक बन जाएगा एशिया का टेक हब। बस एक बात याद रखो, जब तक इन फैक्ट्रियों के आसपास के लोगों को अच्छी बस सुविधा नहीं मिलेगी, तब तक ये जॉब्स भी खाली नोटिस बनी रहेंगी।

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    kuldeep pandey

    अगस्त 22, 2024 AT 17:44

    हम्म। एक और बड़ी निवेश योजना। जब तक सरकार एक आम आदमी को बिजली नहीं देती, तब तक फॉक्सकॉन के लिए टेक्नोलॉजी बनाना बहुत आसान है। ये जो 40,000 जॉब्स का दावा है - उनमें से 80% तो वही लोग लेंगे जो पहले से बड़े शहरों में रहते हैं। बाकी लोगों के लिए तो बस एक नया बाजार बन जाएगा - जहाँ उनकी जमीन ले ली जाएगी, और वो अपने बच्चों को शहर भेजने के लिए मजबूर हो जाएंगे। सरकार का आश्वासन? बस एक और चुनावी वादा।

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    Hannah John

    अगस्त 22, 2024 AT 18:56

    फॉक्सकॉन? ये वो कंपनी है जिसने चीन में लाखों युवाओं को अपनी फैक्ट्रियों में बंद कर दिया था। अब ये भारत आ गया? ये तो बस अपने बारे में बहुत बड़ा फेक न्यूज़ बना रही है। ये जो प्रोजेक्ट एलिफेंट कह रही है - ये तो प्रोजेक्ट एलिफेंट-एक्स-प्रोजेक्ट-एलिफेंट है, जिसका मतलब है: ये जमीन लेगी, जॉब्स बनाएगी, फिर चली जाएगी, और हम बाकी लोग उसके बचे हुए अपशिष्ट को साफ करेंगे। और हाँ - ये फैक्ट्री बनेगी तो वो जमीन जहाँ गाँव वाले अपना दूध बेचते थे, वो अब एक बड़ा सा बैटरी रिसाव वाला जंगल बन जाएगा।

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